बाराबंकी: बस कुछ दिन बाद आप किसी भी सड़क, चौराहे बाजार, बैंक, विद्यालय, प्रतिष्ठान के सामने से गुजरेंगे तो पुलिस की नजर में रहेंगे क्योंकि पूरा जिला सीसीटीवी कैमरा से लैस होने जा रहा। इसके लिए 1903 स्थान चिन्हित कर लिए गए हैं। हर स्थान पर कम से कम दो कैमरे लग रहे हैं। 1814 जगह पर 3460 सीसीटीवी कैमरे लगाने का काम युद्ध स्तर पर जारी है। इनमें 700 कैमरे केवल शहर में लगाए जा रहे हैं। इनका कंट्रोल रूम संबंधित थानों में बनेगा। साल के अंत तक 5000 कैमरे लगने की संभावना है। पुलिस विभाग ने ऑपरेशन त्रिनेत्र के तहत जिले के चप्पे-चप्पे की निगहबानी करने का ठोस प्लान तैयार किया है। कुछ दिन पहले सभी थानों में महत्वपूर्ण स्थल चिन्हित किए गए थे। इसके बाद संबंधित सीओ और थाना प्रभारी को चिन्हित स्थानों पर कैमरे लगाने के लिए निर्देशित किया गया। इसका नोडल अधिकारी एएसपी उत्तरी आशुतोष मिश्रा को बनाया गया है। जबकि पुलिस लाइन में तैनात आरआई रेडियो अशोक मिश्रा को इस प्लान की देखरेख का जिम्मा सौंपा गया है।
सबसे अधिक 700 सीसीटीवी कैमरे शहर के हिस्से में आए है। बस व रेलवे स्टेशन, न्यायालय परिसर व आसपास, शहर से गुजरे लखनऊ-अयोध्या मार्ग के दोनों किनारे, मुख्य बाजारें कैमरे की निगरानी में होगी। मैरिज लॉन व शराब की दुकानों के आसपास भी सीसीटीवी कैमरे हर गतिविधि को रिकार्ड करते रहेंगे। मोहल्लों के फतेहपुर में पहला कंट्रोल रुम स्थापित किया जा चुका है।
कैमरे की देखरेख भी चुनौती
इस कवायद के तहत लगाए जा रहे सीसीटीवी कैमरों नियमित देखरेख व उनकी मरम्मत का काम कम चुनौतीपूर्ण नहीं है। इसके लिए भी पुलिस विभाग उपाय खोजने में जुटा है। क्योंकि पूर्व में शहर में लगाए गए कुछेक कैमरे भी देखरेख के अभाव में बदहाल हो गए थे।
कम्युनिटी पुलिसिंग से मिल रही सफलता
जिले भर में सीसीटीवी कैमरे लगवाने की कोशिश में पुलिस जुटी है। कैमरों की संख्या लगातार बढती ही जा रही है। कम्युनिटी पुलिसिंग के तहत जन सहयोग से कैमरे लगवाने में सफलता मिल रही है। हर थाने को रोजाना चार कैमरे लगाने का लक्ष्य दिया गया है।
– आशुतोष मिश्र, एएसपी उत्तरी