प्रयागराज: झांसी में गुलाम मोहम्मद के यूपीएसटीएफ के साथ मुठभेड में मारे जाने के बाद परिजनों ने शव लेने से इनकार किया। गुलाम मोहम्मद के यूपीएसटीएफ के साथ मारे जाने पर उसकी मां खुशनुदा ने कहा “जिस बेटे ने परिवार को कलंकित किया उससे से हमें कोई लेना देना नहीं है। मैं भी एक मां हूं। उमेश की भी मां है। गुलाम को उसके किए की सजा मिल गयी। उसने बुढ़ापे में हमारा सिर झुका दिया। कभी मैं घर के बाहर अनजान लोगों के सामने नहीं गई। ये दिन भी उसने दिखा दिया। उसने गलत किया है, जिसकी सजा उसे मिली है।”
गुलाम के भाई राहिल हसन ने कहा “उसने हमें रोड पर लाकर खड़ा कर दिया। वो भाई हैं, लेकिन भाई लायक कोई काम भी तो करना चाहिए था। उसने हमारे परिवार का नाम कलंकित कर दिया। ऐसे में हमारे परिवार ने इस बारे में पहले से निर्णय कर लिया था कि एनकाउंटर होने की स्थिति में हम गुलाम का शव लेने नहीं जाएंगे।”
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गुलाम मोहम्मद शिवकुटी थाना क्षेत्र के रसूलाबाद का रहने वाला था। जब गुलाम मोहम्मद का नाम उमेश पाल हत्याकांड में सामने आया तो प्रशासन ने गुलाम के घर को अवैध बताकर बुलडोजर चलवा कर ध्वस्त कर दिया।