संभल: उत्तर प्रदेश के संभल जिले के चंदौसी थाना क्षेत्र में एक निजी कोल्ड स्टोरेज के चैंबर की छत ढहने से मलबे में दबकर मरने वालों की संख्या बढ़कर आठ हो गई है। एनडीआरएफ और एसडीआरएफ की टीमें बचाव अभियान चला रही हैं। DIG शलभ माथुर (मुरादाबाद, उत्तर प्रदेश) ने ये जानकारी दी। उन्होंने कहा कि अभी तक 11 लोगों को रेस्क्यू किया गया है और 8 लोगों की मृत्यु हुई है। अभी भी कुछ लोग लापता हैं। बचाव अभियान अभी भी लगातार चल रहा है। जिलाधिकारी मनीष बंसल ने बताया, चंदौसी थाना क्षेत्र के मई गांव में इस्लाम नगर मार्ग पर स्थित एक निजी कोल्ड स्टोरेज के चैंबर की छत गुरुवार को अचानक ढह गई थी। मृतकों की शिनाख्त की कोशिश की जा रही है। बंसल के मुताबिक, मलबे में से कंक्रीट और अन्य निर्माण सामग्री हटा ली गई है और अब आलू के बोरों को निकालने का काम किया जा रहा है। पुलिस अधीक्षक चक्रेश मिश्रा ने बताया कि हादसे में घायल 10 लोगों को अस्पताल में भर्ती कराया गया है, जबकि कुछ अन्य लोगों के भी मलबे में दबे होने की आशंका है।
SP चक्रेश मिश्रा (संभल, उत्तर प्रदेश) ने बताया कि यहां के मालिक, 2 नामजद लोगों के खिलाफ FIR दर्ज कर ली गई है। हमने 4 लोगों को पूछताछ के लिए हिरासत में लिया है। मुख्य आरोपी फरार हैं, जिनकी तलाश की जा रही है। मलबा हटने के बाद ही इस बिल्डिंग के गिरने का असल कारण बता पाएंगे। कोल्ड स्टोरेज में राहत एवं बचाव कार्य अब भी जारी है।
शलभ माथुर ने गुरुवार देर शाम संवाददाताओं से कहा था, मलबे में अब भी कई लोग दबे हो सकते हैं। कोल्ड स्टोरेज में अमोनिया गैस के सिलिंडर रखे होने की वजह से राहत एवं बचाव कार्य में बहुत एहतियात बरती जा रही है। माथुर ने बताया था कि कोल्ड स्टोरेज के मालिक अंकुर अग्रवाल और रोहित अग्रवाल के खिलाफ गैर-इरादतन हत्या के आरोप में मुकदमा दर्ज किया गया है। उन्होंने कहा था कि अंकुर और रोहित घटना के बाद से फरार हैं और दोनों की गिरफ्तारी के लिए स्पेशल ऑपरेशन ग्रुप की टीम लगाई गई है। माथुर ने कहा था कि प्रशासनिक प्रक्रिया के तहत मामले की मजिस्ट्रेट से जांच कराई जाएगी। उन्होंने बताया था, कोल्ड स्टोरेज का जो हिस्सा ढहा है, वो तीन माह पहले ही बनाया गया था, लेकिन इसके लिए प्रशासन से अनुमति नहीं ली गई थी। इसके अलावा, कोल्ड स्टोरेज में क्षमता से अधिक मात्रा में आलू रखा गया था। पुलिस के अनुसार, राष्ट्रीय आपदा मोचन बल (एनडीआरएफ), राज्य आपदा मोचन बल (एसडीआरएफ) और पुलिस की टीमें राहत एवं बचाव कार्यों में जुटी हुई हैं।