संवाददाता : सत्यवान सिंह चौहान
लखनऊ के अवध डिपो में एसी बसों का मेंटेनेंस होता है. प्रदेश के 19 डिपो की तरह ही अवध डिपो का भी प्राइवेटाइजेशन हो गया है. एक जनवरी से एसडीएल नाम की कंपनी यहां पर काम संभालेगी. तैयारी के लिए कंपनी के प्रतिनिधि अवध डिपो में हवन पूजन करने पहुंचे थे. लेकिन, यहां पर भारी विरोध के चलते कंपनी के प्रतिनिधियों को बैरंग ही वापस लौटना पड़ गया परिवहन निगम की कार्यशालाओं की क्षमता बढ़ाने के उद्देश्य से 19 डिपो के वर्कशॉप को आउटसोर्सिंग के माध्यम से निविदा पर दिए जाने के लिए टेंडर किया गया था. तीन रुपए 57 पैसे प्रति किलोमीटर से लेकर पांच रुपए 48 पैसे तक में इन वर्कशॉप में बसों के मेंटेनेंस का कार्य निजी कंपनियों को दे दिया जाएगा. इनमें मुख्य रूप से श्यामा इंटरप्राइजेज, एसडीएल एंटरप्राइजेज, आरके ऑटोमोबाइल हैं। बता दे उत्तर प्रदेश राज्य सड़क परिवहन निगम के सोहराब गेट डिपो, छुटमलपुर डिपो, एटा डिपो, विकास नगर डिपो,लखनऊ का अवध डिपो, नजीबाबाद डिपो, हरदोई डिपो, जीरो रोड डिपो, ताज डिपो, साहिबाबाद डिपो, देवरिया डिपो, वाराणसी कैंट डिपो, सुल्तानपुर डिपो, झांसी डिपो, बलिया डिपो, बांदा डिपो, बदायूं डिपो, इटावा डिपो और बलरामपुर डिपो शामिल हैं। परिवहन निगम के अधिकारी बताते हैं कि जिन फर्मों ने डिपो में बसों के मेंटेनेंस का ठेका लिया है, उन फर्मों को स्पेयर पार्ट्स, लेबर, यूरिया, लुब्रिकेंट टायर और अन्य स्पेयर की व्यवस्था स्वयं करनी होगी. परिवहन निगम की तरफ से वर्कशॉप परिसर, डीजल और रिपेयर के लिए बसें उपलब्ध कराई जाएंगी। उत्तर प्रदेश राज्य सड़क परिवहन निगम के प्रधान प्रबंधक (प्राविधिक) व प्रवक्ता अजीत सिंह का कहना है कि ऐसी जानकारी आई है कि अवध डिपो में कंपनी के प्रतिनिधि आज पूजा पाठ करने गए थे, लेकिन कर्मचारियों ने विरोध जताया। इसके चलते पूजा नहीं हो पायी। अब सीनियर अधिकारियों की देखरेख में यहां पर काम शुरू कराया जाएगा।
