बालोतरा
सामाजिक गलत परंपराओं को परिवर्तित करना ही,एक सामाजिक परिवर्तन और बहुत बड़ा बदलाव का परिणाम हो सकता है। शिक्षित वर्ग को समाज के वर्तमान ढांचे को बदलने के लिए आगे आना चाहिए और प्रथम शुरुआत अपने स्वयं के घर से करनी चाहिए। गांव टापरा जिला बालोतरा में एक शोक सभा कार्यक्रम में अनोखा संदेश दिया गया। समाज को परिवर्तन की ओर ले जा रहे हैं-एएसपी भरतराज पांचल,निवासी-टापरा
अपनी धर्मपत्नी स्वर्गीय श्रीमती सुमन देवी के देहान्त होने पर मृत्यु भोज नहीं करके समाज में जागृति का संदेश दिया। जो समाज में बदलाव लाएगा और समाज विकास के पथ पर अग्रसर होने के लिए दूसरे लोगों में भी आप द्वारा उठाए गए कदम से एक अद्भुत प्रेरणा मिलेगी।एएसपी भरत राज पांचल ने नशामुक्ति अभियान से समाज के लोगों को नशे से दूर रहने का संदेश दिया।
उनकी धर्मपत्नी सुमन देवी का कुछ दिन पहले जयपुर में जिम से अपने घर जाते वक्त सड़क दुर्घटना को बाद ब्रेन हेमरेज हो गया था।इलाज के दौरान तीन-चार दिन बाद उनका निधन हो गया।शोकसभा के दौरान परिवार से ही सलाह मशविरा लेकर एक ठोस व सकारात्मक निर्णय लिया गया।शोक संतप्त परिवार को ढाढस बंधवाने के लिए आने वाले रिश्तेदारों बाबत केवल चाय,दाल-रोटी जैसी सामान्य मनुहार करना तय हुआ।किसी भी नशीली वस्तु डोडा,अफीम,सिगरेट,बीड़ी गुटखा आदि का सेवन नहीं किया जाएगा,सबने ऐसा संकल्प लिया कि नशे का पूर्णरूपेण प्रतिबंध रखा गया।मास्टर मोटा राम पंवार ने बताया कि राजस्थान मेघवाल परिषद सहित ऐसे कई सामाजिक संगठनों ने इस बात पर पांचल सर का हार्दिक धन्यवाद व आभार व्यक्त किया और बताया कि लोग जब जैसा बोलते हैं और वैसा ही करते हैं,तब केवल समाज में ही नहीं बल्कि संपूर्ण राष्ट्र में सुधार की अपेक्षा की जा सकती है।
ममता लहुआ एसडीएम ने बताया कि जब धरातल पर कथनी और करनी में अंतर नहीं रह जाता है,तब दूसरों के लिए भी एक नई राह प्रशस्त होती है,जिन्हें पीढ़ियां भी याद करती है।इससे बालिका शिक्षा को भी बढ़ावा मिलेगा कि उन्होंने गलत परंपराओं को तोड़ने और समाज को नशा मुक्त बनाने का अभियान शुरू से ही जारी रखा।सभी युवाओं बुजुर्गों सहित गांव के गणमान्य लोगों ने भी इस मुहिम का समर्थन किया।जब सरकार की तरफ से कुप्रथाओं को बंद किया गया है,तो हम धार्मिक आडम्बरों व पाखंडों का सहारा क्यों लें?इनके रिश्ते वालों ने बताया कि शाम को कबीर वाणी सत्संग रखकर,पंचशील की बातों पर मनन कर व सुबह श्रद्धांजलि सभा रखकर समाज में एक बदलाव और जागृति का संदेश दिया।हमें फिजूल खर्ची को रोक कर,शिक्षा के क्षेत्र में सहयोग करना चाहिए।हमारा हित इसी में है और समाज का विकास इसी सोच में है।श्रीमान भरत राज पांचल टापर सामाजिक सरोकारों के साथ,शिक्षा के क्षेत्र में हमेशा सहयोग करते आए हैं,जिससे विद्यार्थियों तथा युवाओं में नई स्फूर्ति और जोश बरकरार रहा है। बौद्ध भिक्खु डॉक्टर सिद्धार्थ वर्धन भन्ते ने बुद्ध की वाणी को सुगमता से शोक संतप्त परिवार के साथ आम जन को भी समझाया।
रिपोर्ट: जगदीश जोगसन
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