Barabanki: उत्तर प्रदेश के बाराबंकी जिले में स्वास्थ्य विभाग का हैरतअंगेज कारनामा सामने आया है. यहां दो सौ से ज्यादा आयुष्मान कार्ड और लाखों रुपए की दवाएं प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र के वर्षों से बन्द पड़े चिकित्सक आवास में कबाड़ की हालत में पड़ी मिली. जिसके बाद हड़कंप मच गया, मौके पर पहुंची राजस्व विभाग की टीम ने दवाओं को कब्जे में लेकर सीज कर दिया. मामले की जांच के लिए जिले से स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों को बुलाया गया है.
मामला बाराबंकी के प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र बेलहरा का है, जहां बुधवार को नगर पंचायत बेलहरा के वार्ड 3 निवासी भाजपा नेता मुजक्कीर अपना इलाज कराने पहुंचे थे. पीएचसी पर डॉक्टर व फॉर्मासिस्ट के न मिलने पर मुजक्कीर उनकी तलाश करते हुए. परिसर में बने चिकित्सक आवासों की तरफ जा पहुंचे, जहां वर्षों से बंद पड़े एक आवास में कबाड़ में पड़े 200 से ज्यादा आयुष्मान कार्ड और लाखों रुपए की कीमत की दवाइयां देख उनकी आंखें फटी रह गई.
वीडियो वायरल होने पर मचा हड़कंप
मामले की जानकारी होते ही स्थानीय लोगों की भीड़ एकत्र हो गई. लोगों ने कबाड़ में पड़े आयुष्मान कार्डों और दवाइयों के वीडियो बनाकर सोशल मीडिया पर वायरल किए तो हड़कंप मच गया. आनन-फानन में नायब तहसीलदार वैशाली अहलावत के नेतृत्व में पहुंची तहसील फतेहपुर की टीम ने दवाइयों को कब्जे में लेकर सीज कर दिया. उच्चाधिकारियों के निर्देश पर मामले की जांच के लिए जिला मुख्यालय से स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियो को मौके पर बुलाया गया है. स्थानीय लोगों के मुताबिक, कबाड़ में पड़ी दवाइयों में ज्यादातर एंटीबॉयोटिक और महिलाओं को गर्भावस्था में दी जाने वाली टैबलेट व टॉनिक हैं, जिसकी पेटी तक नहीं खुली है.
स्वास्थ्य विभाग ने दिए जांच के आदेश
स्वास्थ्य महकमे के कर्मचारियों की लापरवाही से बिना जरूरतमंदों तक पहुंचने से पहले ही एक्सपायर हो चुकी हैं. वही मौके से बरामद 200 से ज्यादा आयुष्मान कार्ड में बेलहरा कस्बे के कई ऐसे लोगों के भी कार्ड मिले हैं जिन्होंने अपने बेहतर इलाज के लिए आयुष्मान कार्ड के लिए आवेदन किया था, लेकिन कार्ड न मिल पाने के चलते इलाज के अभाव में उनकी मौत हो चुकी है. लोगों ने कहा हैं कि अगर समय पर उन्हें कार्ड मिल जाते तो शायद उनकी जान बच गई होती.