बाढ़ से पूर्व बचाव कार्यों को लेकर डीएम ने की समीक्षा बैठक,

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बाराबंकी: जिलाधिकारी शशांक त्रिपाठी की अध्यक्षता में जिला स्तरीय फ्लड स्टीयरिंग कमेटी की बैठक मंगलवार को कलक्ट्रेट स्थित लोकसभागार में हुई। जिलाधिकारी ने कहा कि बाढ़ से बचाव के लिए परियोजनाओं के तहत चल रहे कार्यों को वर्षा के पूर्व पूर्ण कर लें। सरयू नदी (घाघरा), गोमती, कल्याणी और रेठ नदी सहित शहर के जमुरिया नाले से बाढ़ की समस्या से निपटने के लिये समय रहते आवश्यक कदम उठाए जाएं। राहत व बचाव सम्बन्धी सभी तैयारियां पूर्व में ही पूरी कर ली जाए। सबसे अधिक सरजू नदी का तटीय इलाका बाढ़ से प्रभावित होता है, इसके लिये सभी जरूरी तैयारियां पूरी करने के निर्देश दिए। वर्षा के दौरान किसी भी दशा में जलजमाव न होने पाए, इसकी तैयारी सभी खंड विकास अधिकारी एवं जिला पंचायत राज अधिकारी अवश्य कर लेंगे। जिलाधिकारी ने कहा कि बाढ़ के दौरान संपर्क मार्ग, खाद्य सामग्री, पशुओं के भूसे चारे की व्यवस्था, दवाओं की उपलब्धता, पुलिस बल की तैनाती, पेयजल, बिजली आदि की तैयारी संबंधित अधिकारी पूर्ण कर लें, जिससे बाढ़ के समय किसी प्रकार की समस्या उत्पन्न न हो। अपर जिलाधिकारी अरुण कुमार सिंह ने बताया आगामी बाढ़ को देखते हुए समस्त तैयारियों को पूर्ण किए जाने के संबंध में बैठक की जा रही है। सरयू (घाघरा)नदी के तटों पर बांध एवं कटाव निरोधक कार्य निर्मित हैं। उन्होंने बताया बाढ़ कंट्रोल रूम की स्थापना, कंट्रोल रूम में कर्मचारियों की ड्यूटी, बाढ़ समितियों का गठन, अतिसंवेदनशील स्थलों की संख्या एवं चिह्नीकरण, गेटों के मरम्मत आदि कार्य, बंधों पर रैन बसेरे, बाढ़ चौकी की स्थिति एवं रिजर्व स्टाफ की स्थिति आदि की तैयारी बाढ़ के पूर्व कर ली जाए। इसके अलावा रेठ और कल्याणी नदी के साथ ही शहर में जमुरिया नाला है जिन पर बाढ़ सम्बन्धी सभी तैयारियां समय से पूरी करने के निर्देश सम्बंधित अधिकारियों को दिये।

सरयू नदी के कटान वाले स्थानों पर तटबन्ध को मजबूत करने के दिये निर्देश

बैठक में अपर जिलाधिकारी ने सम्बंधित बाढ़ खंड के अधिकारियों को निर्देश देते हुए कहा कि सरजू नदी(घाघरा) के कटान वाले स्थानों हेतमापुर, बबुरी, सुन्दरनगर सहित सभी बाढ़ प्रभावित गांवों के निकट बने तटबन्ध को समय रहते मजबूत कर लिया जाए।

नावों और गोताखोरों की व्यवस्था सुनिश्चित करने के दिये निर्देश

अपर जिलाधिकारी अरुण कुमार सिंह ने बाढ़ पूर्व तैयारी के बिंदुओं पर चर्चा करते हुए कहा कि पर्याप्त संख्या में सरकारी व प्राइवेट नावों और स्थानीय गोताखोरों की व्यवस्था पूर्व में ही सुनिश्चित करा ली जाए। मरम्मत योग्य नावों की समय पर मरम्मत करा ली जाए।

पशुओं का शतप्रतिशत टीकाकरण और उनके चारे की व्यवस्था के दिये निर्देश

अपर जिलाधिकारी ने कहा कि बाढ़ क्षेत्र सहित पूरे जनपद में पशुओं के टीकाकरण सहित बाढ़ के समय उनके लिये चारे भूसे आदि की व्यवस्था पूर्व में ही सुनिश्चित कर ली जाए।

स्वास्थ्य सेवाओं की रहे चाकचौबंद व्यवस्था

अपर जिलाधिकारी ने कहा कि बाढ़ प्रभावित इलाकों में स्वास्थ्य विभाग अपनी सभी जरूरी तैयारियां समय रहते पूर्ण कर ले। इसके लिये पूर्व में ही तैयारी की कार्ययोजना बना ली जाए जिससे लोगों को इस बार बेहतर चिकित्सीय सेवाएं उपलब्ध हो सके।

राहत चौपाल आयोजित करने के दिये निर्देश

अपर जिलाधिकारी अरुण कुमार सिंह ने कहा कि बाढ़ प्रभावित इलाकों में जहाँ-जहाँ आवश्यकता हो वहाँ पर सम्बंधित अधिकारियों द्वारा राहत चौपाल लगाई जाए, लोगों को जागरूक किया जाए। उनकी विभिन्न मूलभूत जरूरतों व सुविधाओं की पूर्ति हेतु आवश्यक कार्यवाही सुनिश्चित की जाए।

एक सप्ताह में कार्ययोजना बनाने के दिये निर्देश

जिलाधिकारी शशांक त्रिपाठी ने बैठक के दौरान सम्बंधित अधिकारियों को निर्देश देते हुए कहा कि सभी विभागों के अधिकारी अपने-अपने विभाग से सम्बंधित बाढ़ पूर्व की तैयारियों की कार्ययोजना एक सप्ताह में बना ले जिससे समय रहते उस पर कार्य किया जा सके। बैठक में सम्बंधित विभाग के अनुपस्थित अधिकारियों पर जिलाधिकारी ने कार्यवाही करने के निर्देश भी दिए।

बैठक में पुलिस अधीक्षक अर्पित विजयवर्गीय, मुख्य विकास अधिकारी अन्ना सुदन, प्रशिक्षु आईएएस तेजस के, अपर जिलाधिकारी अरुण कुमार सिंह सहित सम्बंधित विभागों के अधिकारीगण उपस्थित रहे।